ट्रंप का बड़ा ऐलान: भारत, चीन, पाकिस्तान और बांग्लादेश पर भारी टैरिफ, वैश्विक व्यापार को लगेगा झटका!
🔹 डोनाल्ड ट्रंप ने ‘लिबरेशन डे’ पर नए टैरिफ की घोषणा की, कई देशों पर भारी शुल्क लगाया
🔹 भारत से अमेरिका को होने वाले निर्यात पर 26% टैरिफ लागू
🔹 चीन, पाकिस्तान, बांग्लादेश और यूरोपीय संघ पर भी कड़ा टैक्स
🔹 अमेरिकी टेक, फैशन और ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री पर पड़ेगा व्यापक असर
🔹 भारत समेत कई देशों ने जताई चिंता, व्यापार युद्ध की आशंका बढ़ी
ट्रंप के नए टैरिफ प्लान की प्रमुख बातें
- भारत से आयातित वस्तुओं पर 26% टैरिफ लागू
- चीन पर 34% और पाकिस्तान पर 29% टैरिफ
- बांग्लादेश पर 37% टैरिफ, जिसे अब तक का सबसे कड़ा झटका माना जा रहा है
- कंबोडिया पर 49% और वियतनाम पर 46% टैरिफ लगाया गया
- ऑटोमोबाइल और टेक उत्पादों पर भारी असर, 3 अप्रैल से लागू होंगे नियम
- ट्रंप बोले - 'अब अमेरिका को कोई नहीं लूट सकता'
- वैश्विक व्यापार संगठनों और अमेरिकी कंपनियों ने जताई नाराजगी
किन देशों पर कितना टैरिफ लगाया गया?
- कंबोडिया को सबसे बड़ा झटका – अमेरिका ने इस देश पर 49% टैक्स लगा दिया है, जो अब तक का सबसे ऊंचा शुल्क है।
- यूरोपीय संघ और ब्रिटेन भी प्रभावित – यूरोप से आयातित वस्तुओं पर 20% टैरिफ लगाया गया है, जबकि ब्रिटेन को 10% रियायती टैक्स दिया गया है।
- ऑटोमोबाइल और ऑटो पार्ट्स पर बड़ा असर – 3 अप्रैल से ऑटोमोबाइल पर 25% और 3 मई से ऑटो पार्ट्स पर टैरिफ लगेगा।
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने क्या कहा?
डोनाल्ड ट्रंप ने अपने बयान में कहा:
"हमारे देश को दशकों से लूटा जा रहा था। कई देश अमेरिका को केवल एक बाजार की तरह इस्तेमाल कर रहे थे, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। इस फैसले से अमेरिकी उद्योग को मजबूती मिलेगी और नौकरियां वापस आएंगी।"
उन्होंने आगे कहा कि यह टैरिफ योजना ‘डिस्काउंटेड रिसिप्रोकल टैरिफ’ नीति के तहत लागू की जा रही है, ताकि अमेरिका को हो रहे व्यापारिक घाटे की भरपाई की जा सके।
वैश्विक अर्थव्यवस्था पर असर: क्या होगा प्रभाव?
- भारतीय निर्यातकों को झटका – अमेरिका को निर्यात करने वाली भारतीय कंपनियों पर भारी असर पड़ेगा, जिससे व्यापार घाटा बढ़ सकता है।
- चीनी अर्थव्यवस्था पर और दबाव – चीन पहले से ही मंदी के दौर से गुजर रहा है, ऐसे में 34% टैरिफ से उसकी अर्थव्यवस्था को बड़ा झटका लग सकता है।
- पाकिस्तान और बांग्लादेश पर बड़ा प्रभाव – दोनों देशों की टेक्सटाइल इंडस्ट्री को भारी नुकसान होगा, क्योंकि अमेरिका इनके प्रमुख व्यापारिक साझेदारों में से एक है।
- अमेरिकी उपभोक्ताओं को महंगी वस्तुएं खरीदनी पड़ेंगी – कपड़े, गैजेट्स, ऑटोमोबाइल और अन्य उत्पादों की कीमतें बढ़ सकती हैं।
- टेक कंपनियों को झटका – एप्पल, अमेज़न, टेस्ला जैसी अमेरिकी कंपनियों के शेयरों में गिरावट देखी गई है।
- व्यापार युद्ध की आशंका – कई देश अमेरिका के इस कदम का जवाबी एक्शन ले सकते हैं, जिससे वैश्विक अर्थव्यवस्था प्रभावित हो सकती है।
अमेरिकी उद्योगों में हलचल, टेक और फैशन कंपनियां चिंतित
- अमेरिकी टेक इंडस्ट्री पर गहरा असर, एप्पल, माइक्रोसॉफ्ट जैसी कंपनियों के सप्लाई चेन को झटका
- फैशन इंडस्ट्री को भारी नुकसान, क्योंकि अमेरिकी ब्रांड्स के कपड़े और जूते वियतनाम, कंबोडिया और बांग्लादेश से आयात किए जाते हैं
- ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री में हलचल, कई कंपनियां टैरिफ के कारण उत्पादन लागत बढ़ने की शिकायत कर रही हैं
विशेषज्ञों की राय: क्या होगा आगे?
- अंतर्राष्ट्रीय व्यापार संगठन (WTO) के विशेषज्ञों का कहना है कि यह नीति वैश्विक बाजार में अस्थिरता पैदा कर सकती है। यदि अन्य देश भी जवाबी टैरिफ लगाते हैं, तो यह एक बड़े व्यापार युद्ध को जन्म दे सकता है।
- भारतीय उद्योग संगठनों ने सरकार से आग्रह किया है कि वह अमेरिका से इस मुद्दे पर बातचीत करे ताकि भारतीय उत्पादों को छूट मिल सके।
- यूरोपीय संघ, चीन और जापान जैसे देश पहले ही इस नीति का विरोध कर चुके हैं और अमेरिका के खिलाफ संभावित व्यापारिक कदम उठाने की योजना बना रहे हैं।
अमेरिका के इस फैसले से पूरी दुनिया पर असर पड़ेगा!
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लागू किए गए नए टैरिफ केवल अमेरिका ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था को प्रभावित कर सकते हैं। भारत, चीन, पाकिस्तान, बांग्लादेश और यूरोपीय देशों के लिए यह एक गंभीर व्यापारिक चुनौती है।
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि भारत और अन्य प्रभावित देश इस फैसले का क्या जवाब देते हैं और क्या यह टैरिफ नीति वैश्विक व्यापार युद्ध की शुरुआत करेगी।
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